भोपाल। कोई भी व्यक्ति अपने सपनों का आशियाना बनाने के लिए पैसे जोड़कर बिल्डर को देता है, लेकिन फिर भी उन्हें तय समय पर मकान नहीं मिल पाता है। ऐसा ही एक मामला जिला उपभोक्ता में पहुंचा, जिसमें उपभोक्ता ने साढ़े 14 लाख रुपये देकर 2013 में एक आवासीय प्रोजेक्ट के तहत प्लाट बुक कराया था। 41 लाख रुपये में मकान निर्माण कर देना तय हुआ, लेकिन बिल्डर ने तय समय पर मकान बनाकर नहीं दिया। आठ साल से उपभोक्ता किराए के मकान में रहने के लिए मजबूर है। मामले में जिला आयोग की अध्यक्ष गिरीबाला सिंह, सदस्य अंजुम फिरोज व सदस्य अरुण प्रताप सिंह ने उपभोक्ता के पक्ष में निर्णय सुनाया। बिल्डर को दो माह के अंदर 9.71 लाख रुपये की राशि देने का आदेश दिया।
दरअसल नेहरू नगर की निवासी ज्योत्सना भरणे ने जिला उपभोक्ता आयोग में फेम डेवलपर्स के डायरेक्टर विवेक सूर्य सिंह व धर्म सूर्य सिंह के खिलाफ 2020 में याचिका लगाई थी। उन्होंने शिकायत की थी कि उपभोक्ता ने बैरागढ़ चीचली कोलार रोड में एक आवासीय प्रोजेक्ट फेम फ्रेंच विला में प्लाट 15 लाख रुपये में बुक किया था। उस पर 41 लाख रुपये में मकान का निर्माण करना तय हुआ था। उपभोक्ता ने दो बार में 9.51 लाख रुपये जमा कर दिए थे। उपभोक्ता को तय समय पर बिल्डर ने मकान बनाकर नहीं दिया।
आयोग ने बिल्डर के तर्क को खारिज कर दिया
बिल्डर ने तर्क रखा कि उपभोक्ता द्वारा पूरी राशि समय पर उपलब्ध नहीं कराए जाने के कारण तय समय पर मकान का निर्माण पूरा नहीं हो सका। कई औपचारिकताओं को समय से पूरा नहीं किया। आयोग ने बिल्डर के तर्क को खारिज कर दिया और दो माह के अंदर 9.51 लाख रुपये सहित 20 हजार रुपये मानसिक क्षतिपूर्ति राशि देने का आदेश दिया।